एक लेखक हु मै...!!!
एक लेखक हु मै
हर वो एक लेख लिखता हु जो इन्सान पढ़ सके
हर वो एक कहानी लिखता हु जो जाकर सीधे दिल में लगे
हर वो एक शब्द तराशता हु जो पत्थर पे लिखे तो कभी न मिटे
कल्पनाओं के दरिया में लहरों की तरह बहता हू मै
क्यूकि एक लेखक हू मै
इस पूरी दुनिया को अपने मन से देखने की कोशिश करता हू
हर एक इन्सान को बखूबी समझ सकू ऐसी गुंजाईश करता हू
ऐसी ही सोच समझ के अंधियारे में उजाले करता हु मै
क्यूकि एक लेखक हु मै
भावनाओं को पिरों कर शब्दों में अपने एक दुनिया सजाता हु
उस दुनिया में अपने ही घर की दीवारों पे अक्षर के रंग लगता हु
कुछ ऐसे ही सपनो को हकीक़त बनाने की ख्वाहिश में जिंदा हु मै
क्यूकि एक लेखक हु मै..!!!
सारे लेखकों को समर्पित....!!!